72वाँ कान फिल्‍मोत्‍सव 2019

कान फ़िल्म समारोह 2019 का आयोजन 14 से 25 मई तक फ्रांस में आयोजित किया गया. यह इस फिल्‍मोत्‍सव का 72वाँ आयोजन था. मेक्सिको की फिल्म निर्माता Alejandro Gonzalez Inarritu के नेतृत्व वाली जूरी ने वर्ष 2019 के कान पुरस्‍कारों की घोषणा की.

इस समारोह में सर्वश्रेष्ठ फिल्म का प्रतिष्ठित पुरस्कार ‘पाल्म-डे ओर’ (The Palme d’Or) साउथ कोरिया की फिल्म Parasite को दिया गया. इस फिल्म के डायरेक्टर Bong Joon-ho हैं. Bong साउथ कोरिया के पहले फिल्म के डायरेक्टर हैं जिन्हें यह पुरस्कार दिया गया है.

कान फिल्मोत्सव में भारत

  • प्रथम कान फिल्मोत्सव (1946) में चेतन आनंद की हिंदी फिल्म ‘नीचा नगर’ को सर्वश्रेष्ठ फिल्म का पुरस्कार मिला था.
  • दूसरी बार 1956 में सत्यजीत राय की ‘पथेर पांचाली’ को यह पुरस्कार मिला.
  • कान में मृणाल सेन की फिल्म ‘खारिज’ (1983) को स्पेशल जूरी अवार्ड और मीरा नायर की ‘सलाम बॉम्बे’ (1988) को कैमरा डि ओर तथा आडियंस अवार्ड मिल चुका है.
  • भारतीय फिल्म निर्माता अच्युतानंद द्विवेदी की फिल्म ‘सीड मदर’ ‘इंटरनेशनल सेक्शन ऑफ नेसप्रेसो टैलेंट्स 2019’ श्रेणी में तीसरा पुरस्कार दिया गया.

कान फिल्मोत्सव: एक दृष्टि
कान फ़िल्मोत्सव (le Festival international du film de Cannes or simply le Festival de Cannes) का प्रारंभ 1939 में हुआ था. यह विश्व के सबसे सम्मान जनक फ़िल्म उत्सवों में से एक माना जाता है.

भारतीय फिल्म निर्माता अच्युतानंद द्विवेदी की फिल्म ‘सीड मदर’ को पुरस्कार

72वें कान फिल्‍मोत्‍सव 2019 में भारतीय फिल्म निर्माता अच्युतानंद द्विवेदी की फिल्म ‘सीड मदर’ ‘इंटरनेशनल सेक्शन ऑफ नेसप्रेसो टैलेंट्स 2019’ श्रेणी में तीसरा पुरस्कार दिया गया. इस कैटेगरी में सिर्फ वही फिल्में होती हैं जिसे वर्टिकल 9/16 के फॉर्मेट में शूट किया गया हो.

‘सीड मदर’ में महाराष्ट्र की एक महिला राहिबाई सोमा पोपेरे की कहानी है. वह स्थानीय बीजों और पारंपरिक तरीके से महाराष्ट्र के गांवों में खेती को आगे बढ़ाई हैं.