राष्ट्रपति ने तीन अफ्रीकी देशों – बेनिन, गाम्बिया और गिनी की यात्रा संपन्न की

राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद 28 जुलाई से 3 अगस्त तक तीन पश्चिम अफ्रीकी देशों – बेनिन, गाम्बिया और गिनी की यात्रा संपन्न की. भारत के किसी राष्ट्रपति की इन तीन अफ्रीकी देशों की यह पहली यात्रा थी. राष्ट्रपति कोविंद ने इस यात्रा के दौरान इन देशों के राष्ट्रपति के साथ बातचीत की और उनके साथ विभिन्न मुद्दों पर विचार-विमर्श किया. परंपरागत औषधि, अफ्रीका ई-नेटवर्क परियोजना, सौर और नवीकरणीय ऊर्जा, ई-शिक्षा और आयुर्वेद के क्षेत्रों में कई समझौते पर हस्ताक्षर किये गए. गिनी में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को वहां के सर्वोच्च नागरिक सम्मान नैशनल ऑर्डर ऑफ मेरिट से सम्मानित भी किया गया.

बेनिन: राष्ट्रपति कोविंद 28 जुलाई को इस यात्रा के की शुरुआत बेनिन से की थी. उन्होंने कोटोनू में बेनिन के राष्‍ट्रपति पैट्रिस तेलौं के साथ वार्ता की. इस वार्ता में दोनों देशों के बीच टेलीमेडिसिन क्षेत्र में सहयोग समेत 4 सहमति पत्रों पर हस्ताक्षऱ हुए. राष्ट्रपति कोविंद ने बेनिन को 100 मिलियन डॉलर का ऋण देने की पेशकश की.

गाम्बिया: राष्‍ट्रपति इस यात्रा के दूसरे चरण में 30-31 जुलाई को गाम्बिया की यात्रा की. यात्रा के दौरान उन्होंने अपने समकक्ष एडामा बैरो के साथ व्यापक स्तर पर बातचीत की. भारत ने कौशल विकास और कुटीर उद्योग परियोजना के लिए गाम्बिया को 5 लाख डॉलर देने की पेशकश की. राष्ट्रपति कोविंद की गाम्बिया यात्रा के दौरान दोनों देशों ने पारंपरिक चिकित्सा पद्धति और होम्योपैथी में सहयोग के लिए एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए.

गिनी: राष्ट्रपति तीन अफ्रीकी देशों की यात्रा के अंतिम चरण में 1 अगस्त को गिनी की राजधानी कोनाक्री पहुंचे थे. गिनी के राष्ट्रपति अल्फा कोंडे के साथ वार्ता कर, उन्होंने पारम्परिक चिकित्सा प्रणाली और नवीकरणीय ऊर्जा के क्षेत्र में तीन समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए. राष्ट्रपति कोविंद ने महात्मा गांधी की 150वीं जयंती के उपलक्ष्य में गाम्बिया के “इबुजन थिएटर” में महात्मा गांधी और खादी पर प्रदर्शनियों का उद्घाटन किया. गिनी पश्चिम अफ्रीका में स्थित एक देश है, इसे पहले फ्रेंच गिनी के नाम से जाना जाता था.

गिनी ने भारतीय राष्‍ट्रपति को सर्वोच्च सम्मान से सम्मानित किया

भारतीय राष्‍ट्रपति रामनाथ कोविंद को गिनी गणराज्य के सर्वोच्च सम्मान “नेशनल आर्डर ऑफ़ मेरिट” से सम्मानित किया गया है. गिनी के राष्ट्रपति ने उन्हें यह सम्मान भारत और गिनी के बीच संबंधों को बढ़ावा देने के लिए प्रदान किया गया है.