अमेरिका ने ताइवान को 60 करोड़ डॉलर के सशस्त्र ड्रोन बेचने को मंजूरी दी

अमेरिका ने ताइवान को 60 करोड़ डॉलर के सशस्त्र ड्रोन बेचने को मंजूरी दी है. दोनों देशों के बीच हुए समझौते के तहत ताइवान को रिमोट संचालित सशत्र ड्रोन व अन्य उपकरण देने की प्रक्रिया मंजूर की गई है.

इन ड्रोन के मिलने के बाद ताइवान को अपनी सुरक्षा, सैन्य संतुलन और राजनीतिक स्थिरता में मदद मिलेगी. इससे पहले अमेरिकी सरकार ने ताइवान को 237 करोड़ डालर की हार्पून मिसाइल बेचने पर सहमति दी थी. यह मिसाइल बेहद घातक मानी जाती है.

चीन-ताइवान संबंध

अमेरिका, चीन की चेतावनी के बावजूद ताइवान की सैन्य शक्ति को लगातार मजबूत कर रहा है. दरअसल चीन ताइवान को अपना अलग हुआ प्रांत बताकर उस पर अधिकार जताता है, जबकि ताइवान का कहना है कि वह संप्रभु देश है. वर्ष 1949 में गृहयुद्ध के दौरान यह द्वीपीय क्षेत्र चीन से अलग हो गया था. संयुक्त राष्ट्र ने ताइवान को चीन के एक प्रांत के रूप में मान्यता दी है.