भारत और IAA ने रणनीतिक भागीदारी समझौते पर हस्ताक्षर किये

भारत ने 27 जनवरी को अन्तर्राष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी (IAA) के साथ रणनीतिक भागीदारी समझौते पर हस्ताक्षर किये. समझौता ज्ञापन (MOU) पर भारत की ओर से ऊर्जा सचिव संजीव नंदन सहाय और IAA की ओर से कार्यकारी निदेशक डॉ. फतिह बिरोल ने हस्ताक्षर किए. इसका मकसद वैश्विक ऊर्जा सुरक्षा, स्थिरता और उसे भरोसेमंद बनाने में सहयोग को मजबूत बनाना है.

भारत-IAA ने समझौते के मुख्य बिंदु

  • इस साझेदारी से सदस्य देश एक-दूसरे के बीच जानकारी का व्यापक रूप से आदान-प्रदान कर सकेंगे. साथ ही यह समझौता भारत के लिए IAA का पूर्ण सदस्य बनने की दिशा में एक और कदम होगा.
  • यह समझौता भारत के लिए IAA पूर्ण सदस्य बनने की दिशा में एक और कदम होगा.
  • इस समझौते के तहत सदस्य देशों के बीच आपसी विश्वास, मजबूत सहयोग और वैश्विक ऊर्जा सुरक्षा, स्थिरता और टिकाऊपन को बढ़ावा मिलेगा.
  • रणनीतिक साझेदारी की रूपरेखा को भारत और IAA के सदस्यों द्वारा तय किया जाएगा जिसमें भारत की भूमिका और साझेदारी से मिलने वाले फायदे धीरे-धीरे बढ़ाए जाएंगे.
  • IAA सचिवालय भारत में आपसी सहयोग बढ़ाने वाली गतिविधियों के कार्यान्वयन के लिए जिम्मेदार होगा.
  • भारत सरकार समझौते के अनुसार ऊर्जा क्षेत्र में रणनीतिक और तकनीकी सहयोग को प्रोत्साहित करने और बढ़ावा देने वाले आवश्यक कदम उठाएगी.

अन्तर्राष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी: एक दृष्टि

अंतर्राष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी (IEA) एक स्वायत्त अंतर सरकारी विश्व संस्था है. इसकी स्थापना 1974 में हुई थी और इसका मुख्यालय फ्रांस के पेरिस में है. आर्थिक सहयोग और विकास संगठन (OECD) के 7 सदस्य देशों को छोड़कर शेष सभी OCED सदस्य IEA के सदस्य हैं.

OECD, 35 सदस्य देशों की एक अंतरसरकारी आर्थिक संगठन है, जिसकी स्थापना 1960 में आर्थिक प्रगति और विश्व व्यापार को प्रोत्साहित करने हेतु की गई थी. अधिकांश OECD सदस्य उच्च आय वर्ग अर्थव्यवस्थाएं हैं.